मुख्यमंत्री द्वारा श्री गुरु तेग बहादुर साहिब के सदभावना और धर्म निरपेक्षता के संदेश को आगे बढ़ाने की जरूरत पर जोर

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    चंडीगढ़,  पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने नौवें सिख गुरू श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी की विचारधारा को दुनिया भर में फैलाने की जरूरत पर जोर दिया जिससे शांति, सदभावना, धर्म निरपेक्षता और सह-अस्तित्व के मूल्यों को उत्साहित किया जा सके जिनको गुरू साहिब ने अपनी अतुल शहादत के द्वारा कायम रखा।
    के.एस. राजू लीगल ट्रस्ट की तरफ से ‘श्री गुरु तेग बहादुर जी, भारत में इस्लामिक शासन अधीन हिंदुओं और सिखों की नस्लकुशी और धर्म परिवर्तन के विरुद्ध विरोध का प्रतीक’ विषय पर करवाए एक वैबीनार के दौरान विचार-विमर्श में हिस्सा लेते हुये मुख्यमंत्री ने कहा कि देश के संविधान में दर्ज धर्म निरपेक्ष आचरण अनेकता में एकता की बड़ी मिसाल है जोकि हिंद दी चादर श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी की मूल विचारधारा का अहम हिस्सा है।
    गुरू जी ने समानता वाले समाज की सृजन करना के लिए ‘सरबत दा भला’ की धारणा का पाठ पढ़ाया जहाँ लोग रंग, जाति, नस्ल और धर्म के भेदभाव से बिना शांति और सदभावना से इकठ्ठा रह सकते हैं।
    उन्होंने कहा कि उनको सिख इतिहास से सम्बन्धित कई महत्वपूर्ण समागमों के जश्नों के साथ निजी तौर पर जुड़ने का सौभाग्य मिला है, जिसमें 2004 में श्री हरिमन्दर साहिब में श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी की स्थापना की 400वीं वर्षगांठ और इसके बाद मुख्यमंत्री के तौर पर उनके मौजूदा कार्यकाल के दौरान श्री गुरु गोबिन्द सिंह जी का 350वें प्रकाश पर्व, महान सिख योद्धा बाबा बन्दा सिंह बहादुर की 350वीं जयंती, श्री गुरु नानक देव जी का 550वां प्रकाश पर्व और अब श्री गुरु तेग बहादुर साहब जी का 400वां प्रकाश पर्व शामिल है।
    यह बताते हुए कि जब भारत सरकार ने श्री गुरु तेग बहादुर जी के प्रकाश पर्व के मौके पर एक यादगारी डाक टिकट जारी किया था, मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को ऐतिहासिक जश्नों के हिस्से के तौर पर राज्य में अलग -अलग बुनियादी ढांचा प्रोजेक्टों के लिए 938.37 करोड़ रुपए की ग्रांट के लिए एक विस्तृत मेमोरेंडम भेजा था।
    मुख्यमंत्री ने श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी का 400वां प्रकाश पर्व मनाने के हिस्से के तौर पर उनकी सरकार की तरफ से आयोजित विभिन्न समागमों के बारे बात की, जिनको कोविड महामारी के चलते वर्चुअल मोड में तबदील करना पड़ा। इसके इलावा उनकी सरकार की तरफ से बस्सी पठाना में पुरानी जेल की देखभाल और विकास समेत कई बुनियादी ढांचा/विकास प्रोजैकट शुरू किये गए थे। बताने योग्य है कि इसी जेल में नौंवें गुरू को उनके समर्थकों के साथ नूर मुहम्मद खाने मिर्जा की तरफ से 40 दिनों के लिए कैद में रखा गया था जब वह बादशाह औरंगजेब को मिलने के लिए अपने रास्ता पर थे। उन्होंने बाबा बकाला पंचायत को नगर पंचायत में अपग्रेड करने और तरन तारन जिले में स्थापित की जाने वाली श्री गुरु तेग बहादुर स्टेट यूनिवर्सिटी आफ ला के प्रोजेक्टों के बारे भी जानकारी दी।
    मुख्यमंत्री ने बताया कि गुरू साहिब के साथ जुड़े 79 गाँवों और 24 कस्बों समेत 103 चरण स्पर्श स्थानों की पहचान की गई थी और बुनियादी ढांचे के विकास के लिए प्रति गाँव 50 लाख रुपए और प्रति कस्बा 1 करोड़ रुपए दिए गए। इसके इलावा इन जश्नों के हिस्से के तौर पर 6986 गाँवों में अब तक 60 लाख से अधिक पौधे लगाए जा चुके हैं।
    इस मौके पर बोलते हुये आर्ट आफ लिविंग के संस्थापक श्री श्री रवि शंकर ने कहा कि श्री गुरु तेग बहादुर साहिब की अतुल्य शहादत से व्यवहारिक तौर पर यह सिद्ध होता है कि हमें अपने पास सहायता के लिए आए व्यक्तियों को कभी वापस नहीं मोड़ना चाहिए चाहे इसके लिए हमें अपनी जान का बलिदान ही क्यों न देना पड़े। उन्होंने सिख भाईचारे की सराहना की जिसको दुनिया भर में संकट में घिरे लोगों की मदद के लिए जाना जाता है जो मुसीबत के समय पर लोगों के लिए लंगर का प्रबंध करते हैं और अब कोविड संकट के दौरान मुफ्त आक्सीजन सेवा और अन्य डाक्टरी सहायता प्रदान करके लोगों को राहत मुहैया करवा रहे हैं।
    केरला के राज्यपाल आरिफ मुहम्मद खान ने अपने विचार सांझे करते हुये गुरू जी के महान बलिदा का जिक्र किया और श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी की बुनियादी शिक्षाओं के लोगों में प्रसार की जरूरत पर जोर दिया। उन्होंने राज्य में सिखों की कम आबादी होने के बावजूद पिछले साल बाढ़ों के दौरान केरल के लोगों को सहायता देने के लिए विश्व भर से सिख भाईचारे की तरफ से दी गई सेवाओं की भी सराहना की।
    इससे पहले अपने स्वागती भाषण में, अतिरिक्त मुख्य सचिव, तामिलनाडु सरकार, डा. जगमोहन सिंह राजू और के.एस. राजू लीगल ट्रस्ट के मार्ग दर्शक ने कैप्टन अमरिन्दर सिंह की तरफ से उनके दिवंगत पिता डा. के.एस. राजू की तारीफ में बोले शब्दों के लिए मुख्यमंत्री का तह-ए-दिल से धन्यवाद किया जिनको मुख्य मंत्री ने एक समर्थ प्रशासक और एक नेक आत्मा बताया और कहा कि उन्होंने डिप्टी कमिश्नर के तौर पर पटियाला शहर के सर्वपक्षीय विकास के लिए बेमिसाल सेवाएं दीं।
    प्रसिद्ध लेखक, फिल्म निर्माता और समाज सेवी हरिन्दर सिंह सिक्का ने कहा कि यह वैबीनार गुरू साहिब की एकता, बलिदान और धार्मिकता के सर्वव्यापक संदेश के साथ मानवता को प्रेरित करने के लिए और ज्यादा अहम साबित होगा। उन्होंने इस मौके पर धन्यवाद प्रस्ताव भी पेश किया।

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