जालंधर : विकास का प्रतीक बन एक अलग छाप बना चुके जिले गांव तलवंडी संघेड़ा को केंद्र सरकार की ओर से दूसरी बार राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। एक बार राज्य सरकार भी स्टेट अवार्ड से सम्मानित कर चुकी है। शाहकोट तहसील के करीब 1500 की आबादी वाले गांव तलवंडी संघेड़ा नकोदर से करीब सात तथा कपूरथला से दस किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। गांव की अन्य गांवों के मुकाबले बिल्कुल अलग पहचान है। अब 24 अप्रैल को गांव के सरपंच और पंच अवार्ड लेने के लिए जाने के लिए दिल्ली की तैयारी कर रहे है।
गांव की पक्की गलियां जहां इंटरलाकिंग टाइलें लगी हुई है। गलियों में लाइटें लगी हुई है। गांव में बरसात में भी पानी धरती में समा जाता है। सीवरेज, पानी की सप्लाई , बिजली के लिए उच्चस्तरीय प्रबंध किए गए है। गांव के अन्य छप्पड़ भी पक्के है। पहली बार गांव में 300 लोगों की क्षमता वाला ग्राम सभा हाल का निर्माण किया गया। युवाओं के लिए हाईटैक जिम भी बनाया गया है। लोगों की स्वास्थ्य सुरक्षा के लिए सब सेंटर की भी सुविधा रखी गई है। गांव के विकास के लिए किए जाने वाले सभी फैसले बैठक में लेने के बाद किए जाते है।
गांव के सरपंच आत्मा सिंह कहते है कि गांव हर आयु वर्ग के लोगों को ध्यान में रखते हुए सुविधाओं की व्यवस्था की गई है। गांव के विकास के चलते 24 अप्रैल, 2015 को केंद्र सरकार की ओर से राजीव गांधी पंचायत सशक्तीकरण पुरस्कार से नवाजा गया था।
इसके बाद केंद्र सरकार ने 28 नवंबर, 2016 को राज्य सरकार की ओर से स्टेट अवार्ड दिया गया था। इसके बाद अब तीसरी बार 24 अप्रैल, 2022 को दिल्ली में दीनदयाल उपाध्याय पंचायत सशक्तीकरण पुरस्कार दिया जाएगा। उक्त मिले अवार्ड के साथ साथ गांव के विकास के लिए पांच पांच लाख रुपये भी दिए गए थे। अवार्ड में मिलने वाली धनराशी गांव के विकास में लगाई जाती है।