इनवेस्टर्स पर बोनस शेयर्स की बरसात, 73 कंपनियां कर चुकी हैं घोषणा, जानिए कौन-कौन हैं लिस्ट में

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मुंबई: कोरोना का प्रकोप कम होने के साथ ही कंपनियों के परफॉरमेंस में सुधार आया है। इनवेस्टर्स को भी अब इसका फायदा मिलने लगा है और उन पर बोनस शेयर्स (bonus issue) की बरसात हो रही है। अब तक 73 कंपनियां अपने लॉयल इनवेस्टर्स के लिए बोनस शेयर की घोषणा कर चुकी हैं। यह संख्या 2010 के बाद सबसे अधिक है। 2010 में 90 से अधिक कंपनियों ने बोनस शेयर की घोषणा की थी। हाल के वर्षों में 2018 में सबसे अधिक 78 कंपनियों ने अपने शेयरहोल्डर्स को बोनस शेयर दिया था। लेकिन इस साल यह रेकॉर्ड टूट सकता है। इस साल कंपनियों के प्रॉफिट में भारी उछाल आया है। साथ ही शेयर स्ट्रिपिंग के जुड़े नियम में बदलाव से भी कंपनियां अपने इनवेस्टर्स को बोनस शेयर देने के लिए प्रोत्साहित हुई हैं।

जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के चीफ इनवेस्टमेंट स्ट्रैटजिस्ट वीके विजयकुमार ने कहा कि फाइनेंशियल ईयर 2022 में कंपनियों के मुनाफे में भारी इजाफा हुआ है। बोनस इश्यू इस बात का प्रमाण हैं। टैक्स एक्सपर्ट्स के मुताबिक तथाकथित बोनस स्ट्रिपिंग को रोकने के लिए टैक्स नियमों में बदलाव किया गया है। शायद इस वजह से भी कंपनियां बोनस शेयर जारी करने के लिए प्रोत्साहित हुई हैं। सरकार ने फरवरी में पेश बजट में इनकम टैक्स कानून की धारा 94 (8) में बदलाव किया था ताकि बोनस स्ट्रिपिंग पर रोक लगाई जा सके। नई व्यवस्था एक अप्रैल 2023 से लागू होगी।

क्या होते हैं बोनस शेयर
बोनस शेयर वे शेयर होते हैं जो कंपनी अपने निवेशकों को फ्री में देती है। यह इस बात पर निर्भर करता है कि शेयरहोल्डर के पास कितने शेयर हैं। उदाहरण के लिए कोई कंपनी एक शेयर पर एक बोनस शेयर दे सकती है या एक शेयर पर दो बोनस शेयर दे सकती है। इस तरह बोनस जारी करने को कैपिटेलाइजेशन ऑफ रिजर्व्स कहा जाता है। यानी बोनस शेयर जारी करके मुनाफे के एक हिस्से को कैपिटल में बदला जाता है।

कितनी कंपनियां कर चुकी हैं घोषणा
इंडियन ऑयल, वरुण बेवरेजेज, एयू स्मॉल फाइनेंस बैंक, अजंता फार्मा, नजारा टेक्नोलॉजीज, मिंडा इंडस्ट्रीज, टॉरेंट फार्मा, GMM Pfaulder और आरईसी उन 67 कंपनियों में शामिल हैं जो बोनस शेयर जारी कर चुकी हैं या बोनस स्टॉक के लिए रेकॉर्ड डेट घोषित कर चुकी हैं। इसके अलावा सोनाटा सॉफ्टवेयर समेत छह कंपनियां बोनस शेयर पर विचार करने के लिए बोर्ड मीटिंग बुला चुकी हैं।

वित्त वर्ष 2022 में कंपनियों के मुनाफे में औसतन 48 फीसदी तेजी आई है। कॉरपोरेट प्रॉफिट टू जीडीपी रेश्यो बढ़कर 4.3 फीसदी पहुंच गया है जो फाइनेंशियल ईयर 2020 में 2.2 फीसदी रह गया था। सबसे ज्यादा फायदा बैंक्स, फाइनेंशियल सर्विसेज, इंश्योरेंस (BFSI), आईटी, एनर्जी और मेटल्स सेक्टर्स को हुआ है। बंपर कमाई से उत्साहित कंपनियां अपने शेयरहोल्डर्स को कई तरीकों से खुश करने में लगी हैं। इनमें बायबैक, बोनस इश्यू और स्पेशल डिविडेंड शामिल है।

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